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- डीएम की अध्यक्षता में हुई बैठक
-जिले में टीबी के मरीजों को ढूंढने का अभियान किया जाएगा तेज
-सरकारी अस्पतालों में टीबी मरीजों का मुफ्त में होता है इलाज
बांका, 25 अक्टूबर। स्वास्थ्य विभाग की समीक्षा बैठक मंगलवार को डीएम अंशुल कुमार की अध्यक्षता में हुई। बैठक में एसीएमओ डॉ. अभय प्रकाश चौधरी समेत स्वास्थ्य विभाग के कई अधिकारी मौजूद रहे। बैठक के दौरान डीएम ने टीबी मरीजों की खोज करने के लिए कहा। साथ हीं इसे लेकर जांच अभियान को तेज करने के लिए भी कहा। बैठक के बाद एसीएमओ डॉ. अभय प्रकाश चौधरी ने कहा कि जिले में टीबी मरीजों को लेकर लगातार अभियान चल रहा है। जिलाधिकारी के निर्देश के बाद इस अभियान को और तेज किया जाएगा।
2025 तक जिले को टीबी मुक्त बनाने के लिए अभियान चल रहा-
डॉ. चौधरी ने कहा कि टीबी मरीजों को चिह्नित करने के बाद उसकी जांच से लेकर दवा तक की व्यवस्था मुफ्त है। इलाज बिल्कुल ही मुफ्त किया जाता है। साथ ही जब तक दवा चलती है, तब तक उसे पांच सौ रुपये प्रतिमाह पौष्टिक भोजन के लिए राशि भी दी जाती है। इसके साथ-साथ मरीजों की लगातार निगरानी की जाती है। किसी भी तरह की परेशानी होने पर टीबी के मरीजों का बेहतर इंतजाम किया जाता है। 2025 तक जिले को टीबी मुक्त बनाने के लिए अभियान चल रहा है। जिलाधिकारी के निर्देश के बाद इस पर और फोकस किया जाएगा। अगर किसी व्यक्ति को लगातार दो हफ्ते तक खांसी हो, बलगम में खून आए, लगातार बुखार रहे और शाम के वक्त पसीना आए तो सरकारी अस्पताल आएं।
बीच में नहीं छोड़ें दवाः
एसीएमओ डॉ. चौधरी ने कहा कि टीबी के मरीजों को बीच में दवा नहीं छोड़नी चाहिए। ऐसा करने से एमडीआर टीबी का खतरा रहता है। एमडीआर टीबी से पीड़ित हो जाने के बाद टीबी मरीजों को ठीक होने में समय लग जाता है। इसलिए टीबी के मरीजों से यही अपील है कि नियमित तौर पर दवा का सेवन करें। ऐसा करते रहने से जल्द ठीक हो जाएंगे। उन्होंने कहा कि अगर किसी को टीबी के लक्षण दिखाई तो पहले सरकारी अस्पताल ही आएं। यहां पर जांच से लेकर इलाज तक की मुफ्त व्यवस्था है। जिले के सभी अस्पतालों में टीबी के इलाज की मुफ्त व्यवस्था है।
रिपोर्टर
The Reporter specializes in covering a news beat, produces daily news for Aaple Rajya News
Dr. Rajesh Kumar